Holi 2020 होलिका दहन का मुहूर्त
होली का पर्व देशभर में बड़े ही धूम- धाम से मनाया जाता है। रंगो के इस पावन त्योहार का हिंदू धर्म में बहुत अधिक महत्व है। आइए, आज जानते हैं, कब मनाई जाएगी होली और किस दिन होगा होलिका दहन.
होलिका
दहन का शुभ मुहूर्त
- संध्याकाल में- 06 बजकर 22 मिनट से
8 बजकर 49 मिनट तक
- भद्रा पुंछ - सुबह 09 बजकर 50 मिनट से 10 बजकर 51 मिनट तक
- भद्रा मुख : सुबह 10 बजकर 51 मिनट से 12 बजकर 32 मिनट तक
- भद्रा पुंछ - सुबह 09 बजकर 50 मिनट से 10 बजकर 51 मिनट तक
- भद्रा मुख : सुबह 10 बजकर 51 मिनट से 12 बजकर 32 मिनट तक
होलिका दहन कथा
शास्त्रों के अनुसार होलिका दहन की परंपरा भक्त और भगवान के संबंध का अनोखा एहसास है। कथानक के अनुसार भारत में असुरराज हिरण्यकश्यप राज करता था। उनका पुत्र प्रहलाद भगवान विष्णु का अनन्य भक्त था, लेकिन हिरण्यकश्यप विष्णु द्रोही था।
हिरण्यकश्यप ने पृथ्वी पर घोषणा कर दी थी कि कोई देवताओं की पूजा नहीं करेगा। केवल उसी की पूजा होगी, लेकिन भक्त प्रहलाद ने पिता की आज्ञा पालन नहीं किया और भगवान की भक्ति लीन में रहा।
हिरण्यकश्यप ने पुत्र प्रहलाद की हत्या कराने की कई बार कोशिश की, लेकिन वह सफल नहीं हो पाया तो उसने योजना बनाई। इस योजना के तहत उसने बहन होलिका की सहायता ली। होलिका को वरदान मिला था, वह अग्नि से जलेगी नहीं।
योजना के तहत होलिका प्रहलाद को गोद में लेकर अग्नि में बैठ गई, लेकिन भगवान ने भक्त प्रहलाद की सहायता की। इस आग में होलिका तो जल गई और भक्त प्रहलाद सही सलामत आग से बाहर आ गए। तब से होलिका दहन की परंपरा है। होलिका में सभी द्वेष भाव और पापों को जलाने का संदेश दिया जाता है।
शास्त्रों के अनुसार होलिका दहन की परंपरा भक्त और भगवान के संबंध का अनोखा एहसास है। कथानक के अनुसार भारत में असुरराज हिरण्यकश्यप राज करता था। उनका पुत्र प्रहलाद भगवान विष्णु का अनन्य भक्त था, लेकिन हिरण्यकश्यप विष्णु द्रोही था।
हिरण्यकश्यप ने पृथ्वी पर घोषणा कर दी थी कि कोई देवताओं की पूजा नहीं करेगा। केवल उसी की पूजा होगी, लेकिन भक्त प्रहलाद ने पिता की आज्ञा पालन नहीं किया और भगवान की भक्ति लीन में रहा।
हिरण्यकश्यप ने पुत्र प्रहलाद की हत्या कराने की कई बार कोशिश की, लेकिन वह सफल नहीं हो पाया तो उसने योजना बनाई। इस योजना के तहत उसने बहन होलिका की सहायता ली। होलिका को वरदान मिला था, वह अग्नि से जलेगी नहीं।
योजना के तहत होलिका प्रहलाद को गोद में लेकर अग्नि में बैठ गई, लेकिन भगवान ने भक्त प्रहलाद की सहायता की। इस आग में होलिका तो जल गई और भक्त प्रहलाद सही सलामत आग से बाहर आ गए। तब से होलिका दहन की परंपरा है। होलिका में सभी द्वेष भाव और पापों को जलाने का संदेश दिया जाता है।
मनचाहे
वरदान के लिए होली के दिन हनुमान जी को पांच लाल पुष्प चढ़ाएं, मनोकामना शीघ्र पूरी
होगी।
होली
की सुबह बेलपत्र पर सफेद चंदन की बिंदी लगाकर अपनी मनोकामना बोलते हुए शिवलिंग पर
सच्चे मन से अर्पित करें। किसी मंदिर में शंकर जी को पंचमेवा की खीर चढ़ाएं,
मनोकामना पूरी होगी।
मनचाही
नौकरी पाना हो तो होली की रात बारह बजे से पहले एक दाग रहित बड़ा नींबू लेकर चौराहे
पर जाएं और उसकी चार फांक कर चारों कोनों में फेंक दें। फिर वापिस घर जाएं किंतु
ध्यान रहे, वापिस लौटते समय पीछे मुड़कर न देखें। यह उपाय श्रद्धापूर्वक करें,
शीघ्र ही रोजगार प्राप्त होगा।
व्यापार
में लाभ के लिए होली के दिन गुलाल के एक खुले पैकेट में एक मोती शंख और चांदी का
एक सिक्का रखकर उसे नए लाल कपड़े में लाल मौली से बांधकर तिजोरी में रखें, व्यवसाय
में लाभ होगा।
होली पर स्किन और हेयर केयर के लिए 8 टिप्स और घरेलू नुस्खे | 8 Hair And Skin Care Tips and Home Remedies
1. ज़्यादातर सनस्क्रीन में मॉइश्चराइज़र मौजूद होते हैं. अगर आपकी स्किन शुष्क है, तो पहले सनस्क्रीन लगाएं, फिर कुछ समय के बाद मॉइश्चराइज़र का प्रयोग करें.
2. होली खेलने से पहले बालों पर हेयर सीरम या कंडीशनर का उपयोग करें. इससे बालों को गुलाल से पहुंचने वाले सूखेपन से सुरक्षा मिलेगी तथा सूर्य की किरणों से होने वाले नुकसान से भी बचाव होगा.
3. होली खुले में खेली जाती है. ऐसे में सूर्य की गर्मी से भी त्वचा को नुकसान पहुंचता है. सूर्य की किरण में मौजूद यूवी किरणें स्किन को ड्राई कर रंगों को काला करती हैं. ऐसे में आप कुछ घरेलू उपचार कर होली के त्योहार को बिना किसी टेंशन के माना सकते हैं.
4. होली खेलने से करीब 20 मिनट पहले त्वचा पर 20 एसपीएफ सनस्क्रीन लगाएं.
5. अगर आपकी स्किन एलर्जिक है, तो आप 20 एसपीएफ से ज़्यादा वाली सनस्क्रीन का इस्तेमाल करें.
6. आजकल मार्किट में सनस्क्रीन के साथ हेयर क्रीम काफी आसानी से मिल जाती है. थोड़ी-सी हेयर क्रीम लेकर अपनी दोनों हथेलियों पर फैला लें और बालों की हल्की-हल्की मालिश करें. इसके अलावा आप विशुद्ध नारियल तेल की मालिश भी कर सकते है.
7. होली खेलते समय रंग हमारे नाखूनों में भी भर जाते हैं. इससे बचने के लिए नाखूनों पर नेल वार्निश की मालिश करें.
8. होली खेलने के बाद स्किन और बालों से जमे रंग निकालना काफी मुश्किल का काम होता है. इसके लिए फेस को पहले साफ पानी से धोएं, इसके बाद क्लीजिंग क्रीम या लोशन का लेप लगाएं. कुछ समय के बाद कॉटन को गीला करके उससे साफ करें. क्लींजिंग जेल चेहरे पर जमे रंगों को हटाने में काफी मददगार है.